हिसार जिले के उकलाना हलके के विभिन्न गांवों में जलभराव की भयावह स्थिति का जायजा लेते हुए विधायक नरेश सेलवाल ने प्रदेश सरकार पर कड़ी निशाना साधा। उन्होंने कहा कि सरकार राहत और बचाव कार्यों में पूरी तरह से विफल रही है और ग्रामीणों को अपने संसाधनों व ग्राम पंचायतों के स्तर पर ही व्यवस्थाएं करनी पड़ रही हैं। जलभराव की स्थिति का निरीक्षण किया विधायक नरेश सेलवाल ने आज साबरवास, पावड़ा, खैरी की ढाणी, कुलेरी और किरमारा गांवों का दौरा कर जलभराव की स्थिति का निरीक्षण किया। उन्होंने बताया कि साबरवास और अग्रोहा गांव की समस्या को वे विधानसभा के तीनों सत्रों में उठा चुके हैं, लेकिन अब तक सरकार की ओर से कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया। पूरा गांव पानी में डूबा हुआ है, कोई भी गली ऐसी नहीं बची, जहां पानी न भरा हो। कई मकानों में आई दरारें किसानों की फसलें पूरी तरह नष्ट हो चुकी हैं, कई घर ढह गए हैं और अनेक मकानों में दरारें आ गई हैं। कल भी विधायक ने पनिहारी, बयाना खेड़ा, ढ़ाड, बधावड़, खरक पुनिया, मतलोडा, बनभौरी, छान और हसनगढ़ गांवों का दौरा किया और बाढ़ पीड़ित परिवारों से मुलाकात की। उन्होंने बताया कि पूरे हलके में खेतों में पानी भरा हुआ है, जिससे किसान पूरी तरह बर्बादी का सामना कर रहे हैं। कई घरों में पानी घुस जाने से लोगों को बेघर होना पड़ा है। किसी गांव में नया पंप नहीं लगाया नरेश सेलवाल ने सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि न तो जल निकासी की व्यवस्था की गई है और न ही राहत सामग्री पहुंचाई गई है। जिन गांवों में पुराने मोटर पंप लगे हैं, वे खराब हालत में हैं और किसी भी गांव में नया पंप नहीं लगाया गया। इससे साफ है कि सरकार सिर्फ कागजों पर काम कर रही है, जमीन पर हकीकत कुछ और ही है। सरपंच को 20 लाख उपलब्ध कराए जाए विधायक ने मांग की, कि प्रत्येक ग्राम पंचायत के सरपंच को कम से कम 15 से 20 लाख रुपए की राशि तुरंत उपलब्ध कराई जाए, ताकि पंचायतें जलनिकासी और अन्य राहत कार्यों पर खर्च कर सकें। बीजेपी सरकार पर कटाक्ष करते हुए सेलवाल ने कहा कि प्रदेश के हालात बद से बदतर हो चुके हैं। किसान और आम जनता बाढ़ से त्रस्त हैं, लेकिन बीजेपी के मंत्री और विधायक चंडीगढ़ में मौज मना रहे हैं। सरकार को जनता की कोई परवाह नहीं है। विधायक ने कहा कि कांग्रेस पार्टी और कार्यकर्ता हर बाढ़ प्रभावित परिवार के साथ खड़े हैं और हर संभव मदद उपलब्ध कराने के लिए तत्पर है।